Natarang Pratishthan

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Andher Nagri, Writer: Bhartendu Harishchandr, Director: B. V. Karanth.
Image: Andher Nagri, Writer: Bhartendu Harishchandr, Director: B. V. Karanth. (NP Acc. No. 1659)

Natarang Pratishthan Documentation Catalogue

  • Books (41)
    • Displaying records 6 - 10 of 41.
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    • Serial No: 6
      Title: रंगमंच कला और दृष्टि
      Writer/Editor: गोविन्द चातक
      Publisher/Place: तक्षशिला, दिल्ली
      Year: 10/06/1905
      Source/Accession No: साहित्य अकादमी/3885
      Description/Notes: पृ.- 193, 197, 198 अलकाज़ी के नेतृत्व में रा.ना.वि. द्वारा रंगमंचीय जागरूकता लाने के महत्वपूर्ण काय्र का उल्लेख। पृ.- 197, 198 दूरदर्शन के प्रेक्षकों, रंगकर्मियों पर पड़ने वाले प्रभाव से लेखकों, अभिनेताओं, निर्देशकों का प्रतिभा पलायन तथा प्रेक्षकों का फिल्म, सीरियल जैसी खुराक की मांग जैसी परीक्षा की घड़ी होने पर समय के पटल पर इब्राहिम अलकाज़ी जैसे निष्ठावान रंगकर्मियों के बार-बार रंगमंच को जीवित रखने के लिए सन्नद्ध नहीं होंगे। पृ.- 219, मूल्य- 75/-
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 7
      Title: संस्कृत और हिन्दी नाटक, रचना एवं रंगकर्म
      Writer/Editor: जयकुमार जलज
      Language: हिन्दी
      Publisher/Place: भारतीय ग्रन्थ निकेतन
      Year: 22/06/1905
      Source/Accession No: न.प. / 2578
      Description/Notes: 260 पृ0, पृष्ठ-9: (प्राक्कथन)़ लेखक के अनुसार अल्काजी के प्रयास और कार्यो से नाटक और रंगकर्म के बीच की खाई कम हुई है और रंगकर्म एक सम्मानित कार्य बन गया है।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 8
      Title: अंधायुग: पाठ और प्रदर्शन
      Writer/Editor: जयदेव तनेजा
      Language: हिन्दी
      Publisher/Place: राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय
      Year: 20/06/1905
      Source/Accession No: न.प. / 1360
      Description/Notes: पृ0-23, पृष्ठ-105: (प्रदर्शन फोटो - अंधायुग): निदेर्शक-इ. अल्काजी, रा.ना. वि. रंगमंडल 1964। पृष्ठ - 108 (फोटो - अंधायुग): निर्देशक- इ. अल्काजी, रा. ना. वि. रंगमंडल, 1964।़श्र9 पृष्ठ - 111 (फोटो - अंधायुग): निर्देशक - इ. अल्काजी, रा. ना. वि. रंगमंडल, 1974। पृष्ठ - 144: बम्बई में अल्काजी के खुले टेरेस में सत्यदेव दुबे के निर्देशन में अंधायुग के पहली बार प्रदर्शन। पृष्ठ-126: अल्काजी द्वारा ताल कटोरा में प्रस्तुत ’अंधायुग’ की प्रस्तुति से दुबे निर्देशित अनामिका प्रस्तुति से तुलना। पृष्ठ - 127: सत्यदेव दुबे निर्देशित अनामिका कोलकाता की दुबे निर्देशित अंधायुग की अल्काजी के निर्देशन में फिरोजशाह कोटला की प्रस्तुति पर नेमिचन्द्र जैन का तुलनात्क वकतव्य। पृष्ठ - 128: अंधायुग अल्काजी की दुष्टि में तथा अल्काजी द्वारा 1963 में फिरोजशाह कोटला के ऐतिहासिक खंडहरों में मुक्ताकाजी विशाल मेंच पर अंधायुग को ऐक नया आयाम देने का उल्लेख। पृष्ठ - 124: दिल्ली में ताल कटोरा खंडहरो के खुले स्वभाविक रंगमंच पर 1967 में अल्काजी के निर्देशन में अंधायुग की प्रतीकात्मक प्रभावी प्रस्तुति जिसमें ओम शिवपुरी तथा सुधा शिवपुरी की भूमिकाओं का उल्लेख। पृष्ठ - 136: अल्काजी के निर्देशन में 1974 में लगातार 8 दिनों तथा दिल्ली के पुराने किले की स्वभाविक और भव्य जर्जर पृष्ठभूमि में अंधायुग की अविस्मरणीय प्रस्तुति। लेखक के मत से महाभारत के पौराणिक परिवेश के लिए इससे अधिक उपयुक्त मंच सज्जा की कल्पना लगभग असंभव। पृष्ठ - 137: निर्देशक की अत्यधिक प्रयोग धर्मिता आग्रह से इस प्रस्तुति का दर्शको से पूरी तरह तादात्म्यन होने का उल्लेख। पृष्ठ - 138: विविध शैलियों के उपयोग से गांधारी का काबुकी शैली में विलाप व रूपसज्जा आदि इस प्रस्तुति की एकाग्रता खण्डित होने का उल्लेख। पृष्ठ - 152: मुद्राराक्षस द्वारा अल्काजी और राज बिसारिया निर्देशित अंधायुग के मंचन की रोचक तुलना का उल्लेख। मुद्रा राक्षस के मत से अल्काजी अंधायुग के कथ्य को दूश्य और अभिनय प्रधान मुहावरा देते हैं। पृष्ठ - 157: 1974 में अल्काजी निर्देशित पुराने किले में अंधायुग की प्रस्तुति में रतनथियम द्वारा युयुन्स की महत्वपूर्ण भूमिका का उल्लेख। पृष्ठ - 161: 1989 में सत्यदेव दुबे निर्देशित अंधायुग का मंचन अल्काजी के भव्य विराट एवं दृश्य प्र्रधान प्रदर्शन की अपेक्षा अनलंकृत सादा रखे जाने का उल्लेख। पृष्ठ - 164: अल्काजी के जमाने से अंधायुग रा. ना. वि. के लिए प्रिय रहे जाने का उल्लेख। पृष्ठ - 176 (उपसंहार)़: अल्काजी के निर्देशन में अंधायुग के तीन तीन बार अलग अलग रंग रूपों में प्रस्तुत किए जाने तथा स्वयं को इसकी कसौटी पर कसने का उल्लेख। पृष्ठ-177: अल्काजी द्वारा अंधायुग में भव्यता, स्थापत्य और दृष्यत्व पर बल दिए जाने का उल्लेख।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 9
      Title: आज के हिन्दी रंग नाटक: परिवेश और परिदृश्य
      Writer/Editor: जयदेव तनेजा
      Publisher/Place: तक्षशिला, दिल्ली
      Year: 02/06/1905
      Source/Accession No: साहित्य अकादमी/52044
      Description/Notes: पृ.- 44 अलकाज़ी द्वारा अंधायुग को फिरोजशाह कोटला, पुराना किला, तालकटोरा के खण्डहरों में तीन अलग-अलग प्रस्तुतियों द्वारा विराट आयाम देने का प्रयास।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 10
      Title: आधुनिक भारतीय रंग-परिदृश्य
      Writer/Editor: जयदेव तनेजा
      Publisher/Place: तक्षशिला, दिल्ली
      Year: 14/06/1905
      Source/Accession No: न.प./792.0954
      Description/Notes: पृ.- 17 इब्राहिम अलकाज़ी के अनुसार भारतीय रंगमंच के विकास में छठा दशक बहुत ही महत्वपूर्ण व समृद्ध। नाट्य लेखन, अभिनय, निर्देशन , मंच परिकल्पना, प्रकाश व्यवस्था की प्रौढ़ता पर प्रत्येक मंडली का योग केवल अपनी भाषा तक सीमित तथा हर भाषा में समय के मिजाज को रंगमंच में वाणी नहीं मिल रही थी, जरूरत थी जीवन्त, प्रमाणिक और परिस्थितियों के आक्रोश से भरी आवाज की। आज के रंग नाटक- टूटे आइने के प्रतिबिम्ब: पृ.- 12 इब्रहिम अलकाज़ी। पृ.- 18 (भारतीय रंगमंच की भूमिका): लेखक के अनुसार छठै दशक में निष्ठावान, उत्साही, कल्पनशील रंगकर्मियों की पीढ़ी सक्रिय हो उठी और निद्रैशन एवं प्रस्तुतिकरण की दृष्ट्रि से इब्राहिम अलकाज़ी ने भारतीय रंगमंच के उद्भव एवं विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। पृ.- 21 (आधुनिक भारतीय रंगकर्म: वर्तमान परिदृश्य): आधुनिक रंगमंच के उद्भव ओर विकास में अलकाज़ी का निर्णायक योगदान होने का उल्लेख। परन्तु मौजूदा दौर में उनकी धमाकेदार वापसी द्वारा कोई चमत्कार न ला पाने का उल्लेेख। पृ.- 27 (प्रमुख भारतीय नाट्य-निर्देशक और प्रदर्शन): अलकाज़ी जैसे श्रेष्ठ और सुप्रसिद्ध अभिनेता का केन्द्रीय संगीत नाटक अकादमी द्वारा प्रस्तुति और निर्देशनक के लिए ही पुरूस्कृत किए जाने का उल्लेख। पृ.- 34 (प्रमुख भारतयी नाटय निद्रशक और प्रदर्शन): इब्राहिम अलकाज़ी ‘आषाढ़ का एक दिन’ और ‘तुगलक’ अलकाजी के शब्दों में ’’हमें चिन्ता करनी चाएि तो अच्छे रंगमंच की करनी चाहिए, चाहे वह प्राचीन हो, लोक हो......... वह सौन्दर्य बोध को तृप्ति दे, गम्भीर अर्थ रखे, आज के जीवन के प्रश्नों के प्रति सजग रहे....।’’ पृ.- 34 सम्पूर्ण भारतीय रंगमंच को गरिमा और प्र्रतिष्ठा दिलाने वाले अलकाज़ी के व्यक्तित्व और कृतित्व का संक्षिप्त विवरण और रा.ना.वि. केे निर्देशक बनने का उल्लेख। पृ.- 35 अलकाज़ी द्वारा रा.ना.वि. रंगमंडल की शुरूआत और 1975 में रा.ना.वि. को संगीत नाटक अकादमी से स्वतंत्र कराया। पृ.- 35 अलकाज़ी निद्रशित ’आषाढ़ का एक दिन’ के मुक्ताकाशी मंचन द्वारा नाटकाकार मोहन राकेश को राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिष्ठित करने का उल्लेख। पृ.- 35 अलकाज़ी के मत से प्रस्तुतिकरण का आम मतलब होना चाहिए लिखित शब्द को मंच पर नाट्य रूप में अवतरित करना- दिनमान 25 जनवरी, 1976, पृ.- 33। पृ.- 36 अलकाज़ी के निर्देशन काल में विदेशी और भारतीय नाटककारों के साथ-साथ भवई, यक्षगान और काबुकी शैली में अभिमंचन। पृ.- 36 नाटक को बंद प्रेक्षागृह से निकालकर स्वभाविक परिवेश में मुक्ताकाशी पर ले जाने का श्रेय अलकाज़ी को। पृ.- 37 अलकाज़ी को विभिन्न सम्मानों तथा पुरस्कारों से अलंकृत करने का उल्लेख। पृ.- 37- 1977 में अलकाज़ी द्वारा रा.ना.वि. के निर्देशक पद से त्यागपत्र और पेंटिग की दुनियाँ में लौटने का उल्लेख। पृ.- 37 मुद्राराक्षस के मत से वैसे तो रंगमंच के बहुत बड़े-बड़े निर्देशक है पर जहाँ अलकाज़ी ने रंगमंच को पहुँचाया था, वहाँ से कोई एक कदम आगे नहीं ले गया है....। पृ.- 38 कारंत की उक्ति का उल्लेख- अलकाज़ी द्वारा प्रस्तुत ’आषाढ का एक दिन’ से पहले हिन्दी रंगमंच था ही नहीं। पृ.- 38 रा.ना.वि. द्वारा अलकाज़ी के निद्रशन में मोहन राकेश के प्रथम नाटक ‘आषाढ़ का एक दिन’ ऐतिहासिक मुक्ताकाशी प्रदर्शन द्वारा हिन्दी रंगकर्म के अभूतपूर्व एवं नए आयामों का उद्घाटन। पृ.- 39-42 ‘आषाढ़ का एक दिन’ की उपलब्धियों का उल्लेख। पृ.- 42-48 रा.ना.वि. रंगमंडल द्वारा प्रस्तुत और अलकाज़ी निर्देशित ’तुगलक’ की ऐतिहासिक प्रस्तुतियाँ और उनकी उपलब्धियों का उल्लेख। पृ.- 59 (सत्यदेव दुबे: अंधायुग): बम्बई की ’थियेटर यूनिट’ संस्था से कभी अलकाज़ी का घनिष्ट संबंध रहने का उल्लेख। पृ.- 71 (श्यामानन्द जालान: ’एवम् इन्द्रजित’): ’इवम् इन्द्रजित के सबंध में अलकाज़ी के मत का उल्लेख। पृ.- 79 (ओम शिवपुरी: आधे-अधूरे): बादल सरकार के ‘तीसवीं शताब्दी’ पर आधारित ’हिरोशिमा’ अलकाजी द्वारा निर्देशित किए जाने का उल्लेख। पृ.- 108 (विजया मेहता , बाड़ा चिरेबंदी): विजया मेहता का रंगकर्म के प्रति गंभीर दृष्टिकोण अलकाज़ी के सम्पर्क में आने के बाद और अलकाज़ी द्वारा उन्हें अपने प्रशिक्षण नाट्य दल ’थियेटर ग्रुप’ में शामिल करना। पृ.- 109 विजया मेहता द्वारा अभिनय निर्देशन की तकनीक सूक्ष्मता और गहराई अलकाज़ी से सीखने का उल्लेख। पृ.- 118 (रतन थियम: उचैक लैग्मी डौंग और चक्रव्यूह): अलकाज़ी द्वारा रतन थियम को अभिनय प्रशिक्षण। पृ.-120 अलकाज़ी के निर्देशन में ’अंधायुग’, ’दाँतों की मौत’, ’सुल्तान रजिया’ आदि में रतन थियम द्वारा अभिनय। पृ.- 138 (जब्बार पटेल: घासीराम कोतवाल): अलकाज़ी द्वारा पूर्वाभ्यास से पहले ही प्रस्तुति संबंधी सारी कागजी कार्यवाही करने का उल्लेख। पृ.- 224, मूल्य- 150/-
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
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  • Newspaper Clippings (18)
    • Displaying records 1 - 5 of 18.
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    • Serial No: 1
      Writing Form/Subject: रपट
      Writer: अजित राय
      Title: ’प्रोलोग’ से होगी दसवें भारंगम की शुरूआत
      Newspaper Name: जनसत्ता, नयी दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 01/01/2008
      Source: न.प.
      Description/Notes: 10वें भारत रंगमहोत्सव के मुख्य अतिथि इब्राहिम अलकाज़ी होंगे। रपट भारंगम पर केन्द्रित।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 2
      Writing Form/Subject: रपट
      Writer: अजित राय
      Title: स्वर्ण जयन्ती पर नाटककारों को भूल गए आयोजक
      Newspaper Name: जनसत्ता, नयी दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 01/04/2008
      Source: न.प.
      Description/Notes: 10वें भारत रंग महोत्सव का शुभारंभ इब्राहिम अलकाज़ी ने किया। लेख उद्घाटन समारोह पर केन्द्रित।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 3
      Writing Form/Subject: रपट
      Title: अलकाज़़ी के संपर्क में आने से थियेटर के प्रति आई गंभीरता: विजया मेहता
      Newspaper Name: जनसत्ता, नयी दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 29-04-2007
      Source: न.प.
      Description/Notes: नटरंग प्रतिष्ठान द्वारा आयोजित ’रंग संवाद’ कार्यक्रम में विजया मेहता ने इब्राहिम अलकाज़ी द्वारा किए गये कार्यों को याद किया।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 4
      Writing Form/Subject: साक्षात्कार
      Writer: आलोक पराड़कर
      Title: मैं कलाओं में विभेद नहीं करता
      Newspaper Name: हिन्दुस्तान, लखनऊ
      Language: हिन्दी
      Date: 16-12-2007
      Source: न.प.
      Description/Notes: अलकाज़ी फाउण्डेशन की ओर से लखनऊ पर आधारित प्रदर्शनी के अवसर पर इब्राहिम अलकाज़ी से बातचीत।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serial No: 5
      Writing Form/Subject: रपट
      Title: एशिया का सबसे बड़ा नाट्य महोत्सव तीन जनवरी से
      Newspaper Name: शाह टाइम्स, नयी दिल्ली
      Date: 27-12-2007
      Source: न.प.
      Description/Notes: 10वें भारत रंग महोत्सव का उद्घाटन 3 जनवरी को। इब्राहिम अलकाज़ी मुख्य अतिथि होंगे।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
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  • Periodicals (152)
    • Displaying records 1 - 5 of 152.
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    • Serail No: 1
      Writing Form: वक्तव्य
      Writer: इब्राहिम अलकाज़ी
      Title: प्रमुख नाटककारों - निर्देशकों के वक्तव्य
      Journal: अभिनय, अन्तर्देशीय नाट्य पत्र, दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 1977-78
      Source: न.प. / 183
      Description/Notes: पृ0 - 52: अलकाज़ी द्वारा भारतीय रंगमंच पर दिया गया वक्तव्य।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serail No: 2
      Writing Form: साक्षात्कार
      Writer: इब्राहिम अलकाज़ी
      Title: प्रसाद के लिए उपयुक्त वक्त आएगा
      Journal: अभिनय, अन्तर्देशीय नाट्य पत्र, दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 1981
      Source: न.प. / 183
      Description/Notes: पृ0-31: अलकाज़ी के साथ साक्षात्कार सत्येन्द्र तनेजा के साथ हुए साक्षात्कार में जयशंकर प्रसाद के नाटकों पर संक्षिप्त चर्चा।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serail No: 3
      Writing Form: लेख
      Writer: इब्राहिम अलकाज़ी
      Title: ब्रेख्त प्रसंग
      Journal: नटरंग, त्रैमासिक, दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: अक्टूबर, सितम्बर 1968
      Volume: 07/01/1900
      Source: न.प. / 203
      Description/Notes: पृ0-23: नाटक रंगमंच अभिनय पर विचार विमर्श के संदर्भ में बे्रख्त के नाटकों और उनके प्रदर्शन पर चर्चा।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serail No: 4
      Writing Form: लेख
      Writer: इब्राहिम अलकाज़ी
      Title: राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय
      Journal: नटरंग, त्रैमासिक, दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: जनवरी 1965
      Volume: 31/12/1899
      Source: न.प. / 202
      Description/Notes: पृ0: 39-40: राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय की स्ािापना, पाठ्यक्रम व अन्र्तराष्ट्रीय रंगमंच की परख आदि विषयों पर केन्द्रित लेख।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
    • Serail No: 5
      Writing Form: लेख
      Writer: इब्राहिम अलकाज़ी
      Title: विद्यालय की भूमिका
      Journal: दिनमान, साप्ताहिक, दिल्ली
      Language: हिन्दी
      Date: 21-27 मार्च 1976
      Source: न.प. / 1887
      Description/Notes: पृ0-24: अलकाज़ी ने रंगकर्म में प्रशिक्षण में विद्यालय की भूमिका पर आलेख लिखा। तथा अलकाज़ी निर्देशित नाटकों की तस्वीर।
      Director/Actor being documented: इब्राहिम अलकाज़ी
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